Breaking News
मुख्य सचिव ने जल आपूर्ति योजनाओं के सोशल ऑडिट में स्थानीय महिलाओं को शामिल करने के दिए सख्त निर्देश
उत्तर प्रदेश को मिला 76वां जिला, नाम होगा ‘महाकुंभ मेला’
मुख्यमंत्री धामी ने पहली जौनसारी फीचर फिल्म “मेरे गांव की बाट” का प्रोमो और पोस्टर किया लांच
दिल्ली विधानसभा चुनाव से पहले अवध ओझा आम आदमी पार्टी में शामिल
आयुष्मान कार्ड से अब तक 12.32 लाख लोगों के इलाज पर 2289 करोड़ रुपये हुए खर्च
सीएम धामी ने दिल्ली-दून एक्सप्रेस वे के निर्माण कार्यों का स्थलीय निरीक्षण किया
योगा और रनिंग से कितना अलग है वर्कआउट, जान लीजिए ये कितना जरूरी
सीएम धामी ने की खलंगा मेला समिति को 5 लाख रुपए देने की घोषणा 
तेलांगना के फॉयर ब्रांड नेता टी राजा ने ट्वीट कर की सीएम धामी की जमकर प्रशंसा

जोशीमठ में बढ़ती जा रही जमीन धंसने और घरों की दीवारों में दरार आने की घटनाएं, दहशत में आए स्थानीय लोग

खटीमा। उत्तराखंड के जोशीमठ में जमीन धंसने और घरों की दीवारों में दरार आने की घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। भूधंसाव का दायरा बढ़ने से स्थानीय लोग दहशत में हैं। लोग डर के साए में जीने को मजबूर है। उधर, स्थानीय लोगों की सरकार को लेकर नाराजगी बढ़ती जा रही है। लोगों का विरोध-प्रदर्शन तेज हो गया है।भूधंसाव को लेकर गुरुवार को प्रभावितों का गुस्सा फूट पड़ा। लोगों ने बद्रीनाथ हाईवे जाम कर दिया है। जाम की वजह से गाड़ियों की लंबी लाइन लग गई है। इसके अलावा लोकल बाजारों को भी बंद कर दिया गया है। लोगों ने अब चक्का जाम का एलान किया है। इससे पहले बीती शाम बड़ी संख्या में लोगों ने मशाल जलाकर विरोध प्रदर्शन भी किया

सीएम धामी जल्द ही जोशीमठ का दौरा भी करेंगे। धामी ने कहा, “मैं कुछ दिनों में जोशीमठ का दौरा करूंगा। स्थिति को संभालने के लिए हर संभव कदम उठाए जाएंगे। मैंने स्थिति की निगरानी के लिए नगर निगम के अध्यक्ष शैलेंद्र पवार से बात की है।”

धामी ने इस क्षेत्र के दोबारा अध्ययन के लिए विशेषज्ञों की आठ सदस्यीय टीम गठित की है। यह टीम गुरुवार से जोशीमठ में डेरा डालेगी और दो दिन तक भूधंसाव वाले क्षेत्रों का निरीक्षण करेगी। साथ ही समस्या के समाधान के लिए तात्कालिक और दीर्घकालिक उपायों के दृष्टिगत सरकार को सुझाव देगीराज्य सरकार ने बीते साल अगस्त में भी विशेषज्ञों के दल को जोशीमठ भेजा था। दल ने सितंबर में अपनी रिपोर्ट सरकार को सौंपी थी। रिपोर्ट में बताया गया कि जोशीमठ मुख्य रूप से पुराने भूस्खलन क्षेत्र के ऊपर बसा है। ऐसे क्षेत्रों में पानी की निकासी की उचित व्यवस्था न होने की स्थिति में भूमि में समाने वाले पानी के साथ मिट्टी बहने से कई बार ऐसी स्थिति उत्पन्न हो जाती है। रिपोर्ट में जोशीमठ में पानी की निकासी की उचित व्यवस्था करने, अलकनंदा नदी से हो रहे भूकटाव की रोकथाम को कदम उठाने, नालों का चैनलाइजेशन व सुदृढ़ीकरण करने, धारण क्षमता के अनुरूप निर्माण कार्यों को नियंत्रित करने के सुझाव दिए गए थे।

नगर निगम के चेयरमैन शैलेंद्र पवार ने कहा कि मारवाड़ी वार्ड में जमीन के अंदर पानी का रिसाव होने से घरों में दरारें आ गईं। उन्होंने बताया कि जोशीमठ के 576 घरों के 3 हजार से ज्यादा लोग प्रभावित हुए हैं। उन्होंने कहा, “नगर पालिका द्वारा सभी घरों का सर्वेक्षण किया जा रहा है। कई लोगों ने अपना घर भी छोड़ दिया है।”

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back To Top